शिवहरे वाणी नेटवर्क
आगरा।
आगरा में शिवहरे समाज की प्रमुख धरोहर मंदिर श्री दाऊजी महाराज का पुनरुद्धार कार्य अपने अंतिम चरण में है। स्ट्रक्चर लगभग तैयार हो चुका है, फ्लोरिंग और फिनिशिंग का काम तेजी से चल रहा है। शुभ समाचार यह है कि काफी समय बाद मंदिर की धर्मशाला में फिर से शहनाई गूंजने वाली है। जी हां, आगामी आठ मार्च को धर्मशाला में विवाह समारोह का आयोजन है।
मंदिर प्रबंध समिति के अध्यक्ष श्री भगवान स्वरूप शिवहरे ने बताया कि मंदिर की धर्मशाला की पहली मंजिल आठ मार्च को एक ब्राह्मण परिवार की कन्या के विवाह समारोह के लिए बुक कराई गई है। मंदिर और धर्मशाला में पुनरुद्धार कार्य शुरू होने के बाद यह पहला विवाह समारोह होगा। पहली मंजिल में बड़ा हॉल और दो कमरे तैयार हो चुके हैं।
वहली मंजिल की यह पहली बुकिंग 28 हजार रुपये में की गई है। इसमे 10 हजार रुपये टैंट वाले के और तीन हजार रुपये जेनरेटर के हैं। यानी मंदिर के कोष में 15 हजार रुपये जाएंगे। जबकि, पहले मंदिर धर्मशाला मे विवाह समारोह के मात्र 3100 रुपये लिए जाते थे, इस पर भी पर्याप्त व्यवस्थाएं नहीं होने के कारण यहां विवाह समारोह करने वालों का टोटा ही रहता था। लेकिन, अब धर्मशाला की एक मंजिल की बुकिंग से ही 15 हजार रुपये की पहली आय हुई है। बेशक यह शुभारंभ प्रबंध समिति के लिए उत्साहजनक कहा जा सकता है।
श्री भगवान स्वरूप शिवहरे ने बताया कि अभी धर्मशाला की दरों का अंतिम निर्धारण नहीं किया गया है। धर्मशाला के भूतल और पहली मंजिल का निर्माण कार्य पूर्ण होने पर ही अंतिम दरें तय की जा सकेंगे। फिलहाल नए निर्माण से मंदिर की आय और कोष का बढ़ना तय है। मंदिर की दुकानों का किराया और धर्मशाला से होने वाली आय भविष्य में मंदिर की व्यवस्थाओं और विकास को सुचारू करने में उपयोगी होगी।
मंदिर की धर्मशाला का निर्माण आधुनिक आवश्यकताओं को ध्यान में रखकर किया गया है, ताकि विवाह समारोह, जन्मदिन समारोह, लगुन-टीका जैसे मांगलिक कार्यक्रमों के अलावा विचार गोष्ठियां, सेमिनार, कार्यशालाओं, परिचय सम्मेलनों जैसे सामाजिक व शैक्षणिक आयोजनों में भी इसका उपयोग हो सके। साथ ही उठावनी आदि में भी इसका उपयोग किया जा सकेगा।
कार्य में समाज के कुछ लोगों का द्वारा व्यक्त की गईं चिंताओं का भी ध्यान रखा गया है। मसलन पुराना हॉल टूटने पर उसकी भव्य एवं कलात्मक रैलिंग का उपयोग मुख्य मंदिर में किया गया है जिसके बारे में शिवहरे वाणी द्वारा पूर्व में अवगत कराया जा चुका है। ऊपर इसका चित्र दिया गया है।
उसी पुराने हॉल में शानदार पच्चीकारी वाले पत्थरों का इस्तेमाल भी पुननिर्माण में कर लिया गया है। इन पत्थरों को दूसरी मंजिल की बाहरी दीवारों और स्तंभों पर किया गया है, जो बाहर से मंदिर की भव्यता को बढ़ा रहे हैं। ऊपर इसका चित्र दिया गया है। मंदिर अध्यक्ष ने योजना की जानकारी देते हुए बताया कि दूसरी मंजिल पर इन बाहरी स्तंभों के सहारे एक 8 फुट चौड़ा हॉलनुमा गौख स्ट्रक्चर तैयार किया जाएगा जिसकी छत में मंदिर के हॉल की छत से निकले लोहे के गार्डर और पत्थरों का इस्तेमाल किया जाएगा। छतों के छज्जे पर पत्थर की चिड़ियाएं लगाई जाएंगे जो पुराने हॉल के छज्जे पर लगी थीं।
कुल मिलाकर उम्मीद की जानी चाहिए आने वाले दिनों में आगरा के शिवहरे समाज की ऐतिहासिक धरोहर मंदिर श्री दाऊजी महाराज एवं धर्मशाला का अधिक भव्य रूप सामने आएगा और पहले से कहीं अधिक उपयोगी भी।
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