October 8, 2025
शिवहरे वाणी, D-30, न्यू आगरा, आगरा-282005 [भारत]
समाचार

40 फीसदी की रफ्तार से बढ़ रहा कोरोना…14 अप्रैल को लॉकडाउन खुलने पर संशय

शिवहरे वाणी नेटवर्क (एजेंसी इनपुट) आगरा। कोरोना वायरस को लेकर बेहद गंभीर हो जाने का वक्त है। ऐसा नहीं कि आप आशंकित हो जाएं लेकिन सतर्कता के लिहाज से थोड़ा बहुत डरना भी जरूरी है। वजह यह है कि भारत में अब कोरोना बहुत तेजी से फैल रहा है। पिछले चार दिनों में कोरोना संक्रमित लोगों की संख्या दोगुनी हो गई है, जबकि बीते दो दिनों में संक्रमण के मामले लगभगग 40 प्रतिशत की दर से बढ़े है। यही रफ्तार रही तो अगले छह दिनों में संक्रमण के मामले 10 हजार का आंकड़ा पार कर सकते हैं। ऐसे में 21 दिन का लॉकडाउन 14 अप्रैल के बाद खुल पाने की संभावना कम होती नजर आ रही है। तेलंगाना के सीएम ने लॉकडाउन को 3 जून तक बढ़ाने का सुझाव दिया है, वहीं यूपी के अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश अवस्थी ने कहा- 14 अप्रैल के बाद भी लॉकडाउन खुलने की संभावना नहीं है।
सोमवार शाम को जब यह समाचार लिखे जा रहा है, तब तक देश में 4,693 मामले सामने आ चुके हैं। 143 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 346 मरीज बीमारी से उबर चुके हैं। ये आंकड़े covid19india.org वेबसाइट के मुताबिक हैं। वहीं, केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के अनुसार, देश में अब तक कुल 4, 281 मामले सामने आए हैं, जिनमें से 318 लोग ठीक होकर घर जा चुके हैं। बीमारी से 111 लोगों की मौत हुई है। 3 हजार 851 संक्रमितों का इलाज जारी है। कुछ विश्लेषकों का मानना है कि अगर कोरोना के मामले इसी तरह बढ़ते रहे तो अगले छह दिनों में संक्रमितों की संख्या 10000 पार कर जाएगी। तह हमारे अस्पतालों का क्या हाल होगा, जरा कल्पना कीजिये। हमें सैल्यूट करना चाहिए अपने चिकित्सकों और मेडिकल स्टाफ को जो सुरक्षा के सीमित साधनों के बावजूद मरीजों की सेवा में लगे हैं।
इन सबके बीच, कोरोना के दो और गंभीर संकेत मिले हैं। एक, यह संक्रमण अब जानवरों में भी फैलने लगा है जो कि एक गंभीर स्थिति है। अमेरिका एक जू में शेर को संक्रमण पाया गया है। दूसरा, गुजरात के जामनगर में एक 14 महीने के ऐसे बच्चे में कोरोना संक्रमण पाया गया जिसकी कोई ट्रेवल हिस्ट्री नहीं है। कोरोना संक्रमण का पता लगाने के लिए इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आईसीएमआर) को 8 अप्रैल तक विदेश से 7 लाख रैपिड एंटीबॉडी टेस्टिंग किट मिल जाएंगी। इनसे उन क्षेत्रों में कोरोना जांच में मदद मिलेगी, जहां संक्रमण के ज्यादा मामले सामने आ रहे हैं। उम्मीद है कि पहले फेज में 5 लाख किट आएंगी। इस किट के जरिए खून की एक बूंद से 5 से 10 मिनट के अंदर कोराना टेस्ट किया जा सकता है। जाहिर है, कि ऐसे में जांच का दायरा बढ़ेगा। और तब संभव है कि संक्रमण के और मामले सामने आएं। ऐसे में हमारे पास में केवल सतर्कता ही ऐसा हथियार है जो हमें इस महामारी से बचा सकता है।

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