भोपाल।
कोलार रोड स्थित जेके हॉस्पिटल का कांफ्रेंस हॉल बीते रविवार व्यंग्य-विनोद और साहित्य-कला के खुशनुमा रंगों से गुलजार रहा। समरसता और आपसी भाईचारे के पुरखुलूस माहौल में कलचुरी समाजबंधुओं ने ‘बुरा न मानो होली है’ की तर्ज पर भाषायी मर्यादा में ऐसे-ऐसे व्यंग्य-वाण चलाए जो निशाने पर लगकर गुदगुदाहट और ठहाके बिखेर गए।
मौका था वरिष्ठ नागरिक मंच कलार समाज भोपाल के होली मिलन समारोह का जिसमें स्वजातीय महिलाओं-पुरुषों ने अपनी कविताएं, गीत, भजन व व्यंग्य प्रस्तुत किए। इस समारोह में श्रीमती संगीता चौरागढे ने राधा-कृष्ण नृत्य नाटिका, हरीश मालवीय ने भजन एवं गीत, श्रीमती सीमा शिवहरे ने प्रासंगिक रचना पाठ और श्रीमती कल्पना राय ने बुंदेलखंडी गीत प्रस्तुत किया। आरपी मालवीय, शंकरलाल राय, हरिराम राय, श्रीमती प्रगति मालवीय, श्रीमती भगवती राय, श्रीमती सुशीला चौकसे, महेश मालवीय ने भी अपनी प्रस्तुतियां दी। बीच-बीच में समाज के अधिकांश लोगों को उनकी जीवन शैली के आधार पर हास्यास्पद ‘उपाधियों’ से विभूषित किया गया। समाजबंधुओं की साहित्यिक और कलात्मक अभिरुचि ने इस कदर प्रभावित किया, कि मंचासीन अतिथि एलएनसीटी ग्रुप की मैनेजिंग डायरेक्टर श्रीमती पूनम चौकसे ने कहा कि होली मिलन या इस तरह के आयोजनों में मंच का इस्तेमाल समाज की साहित्य एवं कला से जुड़ी प्रतिभाओं को आगे लाने में किया जाना चाहिए। वहीं मुख्य अतिथि के रूप में मंचासीन एलएनसीटी ग्रुप के कुलाधिपति श्री जयनारायण चौकसे ने अपने उदबोधन में कहा कि इस तरह के आयोजनों से जीवन में समरसता और भाईचारे का अहसास होता है। उन्होंने आश्वस्त किया कि आगे भी इस प्रकार के आयोजनों को प्रोत्साहित करते रहेंगे। भोपाल की महापौर श्रीमती मालती राय ने कहा कि ऐसे आयोजनों से हमें अपनी सांस्कृतिक विरासत को संजोने की प्रेरणा मिलती है।
अंत में वरिष्ठ नागरिक मंच की अध्यक्ष श्रीमती कल्पना आईडी राय ने संगठन की सामाजिक व आध्यात्मिक यात्राओं, गरीबों जरूरतमंद के लिए किए गए प्रयासों आदि की जानकारी दी। मंच संचालन विष्णु जायसवाल एवं प्रकाश मालवीय ने रोचक अंदाज में बड़ी कुशलता से किया। जीएन वर्मा ने सभी का आभार व्यक्त किया। सभागार में सभी ने एक-दूसरे पर गुलाल, अबीर एवं पुष्प-वर्षा कर होली एवं रंगपंचमी की बधाई दी। स्नेहभोज के साथ कार्यक्रम का समापन हुआ।
कार्यक्रम में आईडी राय, सुरेश मालवीय, सतीश आर्य, राजकुसुम राय, कमलेश दीपक राय, रमेश राय, बालमुकुंद चौकसे, नम्रता विशाल राय, कौशल राय, राजन सेइवार, प्रदीप राय, राजाराम शिवहरे समेत लगभग 200 – 250 गणमान्य सदस्यों की उपस्थिति रही जिनमें मुख्य रूप से कलार समाज, मराठा कलार समाज, मित्र मंडल आनंद नगर, कलचुरि सेना, श्री सहस्त्रबाहु कलचुरी कलार समाज भोपाल के सदस्य एवं पदाधिकारी गण शामिल थे।
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